पाकेला पोटाकेबिन पहुंच भाजपा नेत्री अधिवक्ता दीपिका शोरी ने की तस्दीक
पीड़ित को न्याय व शिक्षक को दंडित करने हेतु किया मांग, सुकमा जिले के पोटाकेबिन पाकेला का मामला
सुकमा, आँचलिक न्यूज। सुकमा जिले में आश्रम एवं पोटाकेबिन में आए दिन अनियमितताओं की खबरे आना आम बात हो गई हैं,छोटी बच्चियों के साथ हुए अनाचार के बाद भी शिक्षा विभाग नहीं चेत रहा है,अब नया मामला पाकेला पोटाकेबिन का सामने आया है लगभग 1 सप्ताह पूर्व यहाँ पर पदस्त शिक्षक धनंजय साहू के द्वारा नवमीं में अध्यनरत आदिवासी छात्र शिवा कोर्राम को इस कदर पीटा गया की उस बच्चे के कान से खून निकल गया,जिसकी प्राथमिक उपचार करने के बाद यहाँ के कर्मचारियों ने उसे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र छिंदगढ़ भेजा गया बच्चे के कान से सम्बंधित मामला होने के कारण छिंदगढ़ से उसे जिला अस्पताल रेफर कर दिया गया ,इस बीच छुट्टी होने के कारण दो दिनों के बाद पोटाकेबिन प्रबन्धन के स्वास्थ्य विभाग देख रहे कर्मचारियों की बिना जानकारी के स्वयं धनन्जय साहू के द्वारा पीड़ित छात्र को जिला अस्पताल ले जाकर डॉक्टर को वास्तविक जानकारी न देकर उपचार करवाया करा कर उसे उसके माता पिता के पास गोंगला भेज दिया गया भाजपा नेत्री अधिवक्ता दीपिका शोरी को आदिवासी छात्र के साथ मारपीट की जानकारी मिलने पर वो पोटाकेबिन पहुंची तो पीड़ित आदिवासी छात्र शिवा कोर्राम ने उन्हें बताया कि घटना वाले दिन खाने में सब्जी खत्म हो गई थी आचार के साथ खाना पड़ रहा था इसलिए मैं अपने रूम में जाकर भोजन करना चाह रहा था बस इसी वजह से साहू सर ने मुझे कान पर जोर से मारा जिसके कारण मेरे कान से खून निकल आया और बहुत दर्द भी हुआ बच्चे की बात पर भाजपा नेत्री दीपिका बहुत ही आक्रोशित हुई व उन्होंने डीएमसी श्याम सुंदर चौहान से तत्काल बात की व उक्त शिक्षक को अन्यत्र तबादला कराने व दण्डित करने के साथ साथ पीड़ित छात्र को मुआवजा देने हेतू कहा साथ ही
शिवा कोर्राम के अलावा भी अन्य बच्चों ने मारपीट की शिकायत की
बच्चे शबरी दुग्ध नहीं पीना चाहते उन्हें अन्य पौष्टिक आहार दें: दीपिका
दीपिका ने कहा
मुझे यहाँ के बच्चों ने बताया की सुकमा से जो शबरी दूध बच्चों के लिए आता है समस्त छात्रों ने उसे न भेजने का निवेदन भी किया है दूध की जगह किसी अन्य पौष्टिक आहार की मांग बच्चों ने की है जिला प्रशासन को इसे संज्ञान में ले कर तत्काल कार्यवाही करनी चाहिए किसी फर्म को लाभ पहुंचाने से अच्छा है कि बच्चों की रुचि अनुसार उन्हें खाद्यपदार्थ देना चाहिए जिससे उनके स्वास्थ्य पर भी खराब असर न पड़े क्योंकि बच्चों ने बताया की यह दूध पीने से बदबू आता है जो शायद बच्चों तक पहुंचने से पहले ही खराब हो जाता है इसलिए इस दूध की भी पूरी गुणवत्ता की जांच होनी चाहिए।
दीपिका मिलने पहुंची शिवा के पालकों से गोंगला
पोटाकेबिन में पीड़ित छात्र शिवा से मिलकर भाजपा नेत्री दीपिका शिवा के पालकों से मिलने उनके गांव गोंगला भी पहुंची शिवा की माँ ने बताया कि मेरे पुत्र को कभी भी कोई परेशानी नहीं थी अगर उसे कान में कोई परेशानी होती तो हम ईलाज भी करवाते हमने अपने छोटे बच्चे का इलाज आंध्रप्रदेश के अस्पताल में करवाया है तो क्या शिवा की चिकित्सा नहीं करवाते शिवा के कान में तकलीफ उस शिक्षक के मारने के पश्चात ही हुआ है ।